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352 लावारिस लाशों को अंतिम संस्कार करवाई, 12 रेप पीड़िता को लिया गोद: अल्पाबेन पटेल

जीवन में परोपकार का बहुत महत्व है। समाज में परोपकार से बढकर और कोई धर्म नहीं होता। आज हम एक ऐसी महिला की बात करेंगे, जिसे आप परोपकार का उदाहरण मान सकते है। दरअसल आज हम बात कर रहे हैं गुजरात (Gujarat) के आणंद जिले की रहने वाली अल्पाबेन पटेल (Alpaben Patel) की, जो अब तक 352 से ज्यादा लाशों का अंतिम संस्कार कर चुकी हैं। – Alpaben Patel of Gujarat has so far cremated more than 352 dead bodies.

Alpaben Patel cremated 352 dead bodies and doing work for rape victims

गुजरात सरकार द्वारा हो चुकी हैं सम्मानित

कोरोना काल में जहां हर कोई अपनी सुरक्षा के लिए कोविड के गईडलाइन मान कर घरों में थे वहीं अल्पाबेन अपने काम में जुटी रही। इस कार्य के लिए उन्हें गुजरात सरकार ने सम्मानित भी किया है। अल्पाबेन अपने पति समीर पटेल के साथ मिलकर सामाजिक काम करती हैं। उनके अनुसार वह बचपन से ही सोशल वर्क में जुटी रही हैं।

पति ने भी किया सोशल वर्क में अल्पाबेन का सहयोग

अल्पाबेन पहले महिला अधिकारों के लिए काम करती थीं। शादी के बाद उनके पति ने भी इस कार्य में उनका सहयोग किया। अल्पाबेन लावारिश लाशों के अंतिम संस्कारी की जिम्मेदारी उठा ली है। वह कहती है कि शुरू में यह अजीब जरूर लगता था, लेकिन बाद में यह जिंदगी का हिस्सा बन गया। – Alpaben Patel of Gujarat has so far cremated more than 352 dead bodies.

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352 शवों का कर चुकी है अंतिम संस्कार

अल्पाबेन के अनुसार वह अबतक 352 शवों का अंतिम संस्कार कर चुकी हैं। इसके अलावा वह लड़कियों के लिए भी काम करती हैं। आपको बता दें कि वह उन महिलाओं और लड़कियों के लिए काम करती हैं जिन्हें समाज ने किनारा कर दिया है। अल्पाबेन अबतक 12 रेप पीड़ित लड़कियों को गोद ले चुकी है।

8500 परिवारों के आपसी विवाद को निपटा चुकी हैं

अल्पाबेन बताती है कि वह अबतक 8500 से अधिक परिवारों के आपसी विवाद का निपटारा कर चुकी हैं। इसके अलावा वह महिलाओं, विधवाओं के लिए भी काम करती हैं। साथ ही अल्पाबेन लाचार महिलाओं को रोजगार भी मुहिया करवाती है। – Alpaben Patel of Gujarat has so far cremated more than 352 dead bodies.

बिहार के ग्रामीण परिवेश से निकलकर शहर की भागदौड़ के साथ तालमेल बनाने के साथ ही प्रियंका सकारात्मक पत्रकारिता में अपनी हाथ आजमा रही हैं। ह्यूमन स्टोरीज़, पर्यावरण, शिक्षा जैसे अनेकों मुद्दों पर लेख के माध्यम से प्रियंका अपने विचार प्रकट करती हैं !

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