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रतन टाटा द्वारा मुंह मांगी रकम के ऑफर को ठुकराया, मांगी नौकरी, दिल जीत लेगी इस पेंटर की कहानी

कुछ बातों और चीजों पर आंखों देखी ना ही विश्वास होता है और ना ही कानों सुनी। अगर हम आपसे ये कहें कि झुग्गी झोपड़ी में रहने वाले लड़के को रतन के तरफ से ऑफर मिला। ये ऑफर करोड़ों रुपये की थी लेकिन इस ऑफर के बदले जॉब मांगा गया। आप इसे क्या कहेंगे कि शख़्स की मनबुद्धि या फिर और कुछ जो इतनी बड़ी रकम को ठुकरा दिया।

लेकिन क्या आप ये जानते हैं कि ऑफर को ठुकरा कर जॉब मांगने के पीछे की क्या कहानी है? अगर आप जानने के लिए उत्सुक हैं तो इस लेख पर बने रहें। इस लेख में हम आपको ये सारी जानकारी देने वाले हैं जो सेंसटिव होने के साथ-साथ काफी प्रेरणाप्रद भी है।

पिता थे शराबी

वह लड़का है नीलेश मोहिते (Nilesh Mohite) जो पेशे से आर्टिस्ट हैं। वह महाराष्ट्र (Maharashtra) से ताल्लुक रखते हैं लेकिन आज से लगभग 13 वर्ष पूर्व वह महाराष्ट्र (Maharashtra) के रायगढ़ (Raygarh) को छोड़ मुंबई आए। उनके पिता एक शराबी थे जिस कारण हर दिन घर में परेशानी ही परेशानी झेलनी पड़ती। आर्थिक स्थिति बेहद खराब होने के कारण वह एक झुग्गी झोपड़ी में अपने मां और बहन के साथ रहते थे। किसी-किसी दिन उन्हें पानी पीकर ही सोना पड़ता क्यूंकि पिता को अपने परिवार की चिंता ना थी और वह शराब के नशे में धुत रहते थे। -Nilesh Mohite From Maharastra

Nilesh Mohite turned down Ratan Tata's offer and sought a job

मां करती थी दूसरों के घर काम

अपने परिवार का पेट पालने और आजीविका चलाने के लिए नीलेश (Nilesh Mohite) की मां दूसरों के घर झाड़ू-पोछा किया करती थी ताकि जो पैसे मिले उससे बच्चों का पेट पाल सकें। परंतु वह ज्यादा दिनों तक इस बोझ को नहीं संभाल पाई और उनकी तबीयत खराब हो गई। हालत इतनी खराब हो गई थी उन्हें ऑपरेशन करवाया गया। डॉक्टर ने यह सलाह दिया कि वह जॉब छोड़ दे तभी वह अच्छी तरह ठीक हो पाएंगी। -Nilesh Mohite From Maharastra

लगी पेंटिंग की लत

उस वक्त नीलेश मोहिते मात्र नौवीं कक्षा में पढ़ रहे थे। घर की जिम्मेदारी उनके ऊपर आई और उन्होंने पढ़ाई छोड़ दी। वह बताते हैं कि पढ़ाई के दिनों में मुझे पेंटिंग का शौक जगा। मैं अक्सर ब्लैक बोर्ड पर स्केचिंग किया करता था। वह बताते हैं मुझे पेंटिंग करना तब लगा जब मैं मुंबई की जहांगीर आर्ट गैलरी में मशहूर आर्टिस्ट एम एफ हुसैन (M. F. Hussain) की पेंटिंग एग्जिबिशन देखने गया। -Nilesh Mohite From Maharastra

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किया चपरासी का काम

नीलेश मोहिते ( Nilesh Mohite) आजीविका चलाने के लिए ऑफिस बॉय का काम करने लगे। ऑफिस बॉय के अतिरिक्त उन्होंने गार्ड एवं चपरासी का भी काम किया। आगे कुछ लोगों ने मुझे एक सजेशन दिया कि मुझे जॉब के साथ-साथ पढ़ाई पर भी फोकस करना चाहिए तब मैंने नाइट क्लास जॉइन किया। परंतु इस दौरान भी मुझे पैसे की चक्कर में पढ़ाई से थोड़ा दूर रहना पड़ा।-Nilesh Mohite From Maharastra

आगे वाह एक बेटर का जॉब करने लगे और जब उन्हें वक्त मिलता वह पेंटिंग पर जोर देते। एक बार की बात है कि वह वह होटल में एक कस्टमर को उसके टेबल पर चाय देने गए, वहीं एक नैपकिन पड़ा हुआ था जिस पर उन्होंने उसका स्केच बनाया। हालांकि उस दौरान उन्हें डांट सुनने को मिली और उन्हें ये बोला गया कि क्या तुमको इसी के पैसे दिए जाते हैं?? परंतु जब उनकी स्केचिंग को देखा गया तो यहां के मैनेजर दंग रह गए और उन्होंने उनका मनोबल बढ़ाया और यह कहा कि मैं तुम्हें बड़े लोगों से मिलवाउंगा। तुम अच्छी-अच्छी पेंटिंग्स बनाओगे जिसके तुम्हे पैसे मिलेंगे। -Nilesh Mohite From Maharastra

ऐसे मिले रतन टाटा से

नीलेश मोहिते (Nilesh Mohite) बताते हैं कि मैं रतन टाटा (Ratan Tata) से बेहद इंस्पायर्ड हूं। यह वक्त वर्ष 2017 का था जब मैंने रतन टाटा की पेंटिंग बनाई थी। मैं चाहता था कि उन्हें उनके जन्मदिन पर उन्हें ये गिफ्ट करुं। इसके लिए मैं हर दिन उनके घर के बाहर खड़ा होता मैं उनसे मिलना चाहता था। मैंने अपनी पहचान के आदमी से कहा कि वह टाटा से मुझे मिला दे। जब वह रतन टाटा के बर्थडे पर मिले तो उन्होंने रतन टाटा को अपने द्वारा बनाई गई पेंटिंग दी जो उन्हें काफी पसंद आई और वे बेहद खुश हुए। -Nilesh Mohite From Maharastra

ऑफर को ठुकराया

जब मैं वर्ष 2018 में उनके जन्मदिन पर रतन टाटा (Ratan Tata) से मिले तो उस दौरान उन्होंने एक बड़ी पेंटिंग बनाई हुई थी उन्होंने यह कहा कि आपकी यह जितनी बड़ी पेंटिंग मैंने बनाई है बस इससे थोड़ी ही बड़ी मेरी गृहवास है और मुझे इसे रखने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है। मैं चाह कर भी इससे ज्यादा पर आपकी पेंटिंग नहीं बना सकता। यह बात रतन टाटा ने सुना तो उन्होंने एक लिफाफा दिया जिसमें एक चेक रखा हुआ था। -Nilesh Mohite From Maharastra

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उस लिफाफे को देते हुए रतन टाटा ने मुझसे कहा कि तुम अपने रहने के लिए एक बड़ा सा घर इस लिफाफे में दिए गए रकम से खरीद सकते हो। मैंने उनसे कहा कि मुझे लिफाफा नहीं चाहिए अगर आप मुझे कुछ देना चाहते हैं तो रोजी रोटी दें। उन्होंने कहा अगर ऐसा अवसर आया तो मैं तुम्हें अवश्य बताऊंगा। आगे नीलेश मोहिते को मुंबई (Mumbai) के सबसे बड़े ताज होटल (Hotel Taj) में अपनी पेंटिंग की आर्ट एग्जीबिशन के लिए रतन टाटा ने बुलवाया। हालांकि उन्हें यहां ज्यादा सफलता नहीं मिली। वह बताते हैं कि उन्होंने बड़े-बड़े एक्टर्स की पेंटिंग बनाई है उन्हें आज भी इंतजार है कि उन्हें जॉब मिल जाए। –Nilesh Mohite From Maharastra

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