Sunday, December 10, 2023

कॉर्पोरेट की नौकरी छोड़ शुरु किया नर्सरी का बिजनेस, सालाना 30 लाख रुपये की आमदनी हो रही है

आधुनिक समय में अधिकांश युवा अच्छी-खासी पढ़ाई-लिखाई करके अच्छी नौकरी करने की ख्वाहिश रखते हैं ताकि वे एक अच्छी और बेहतर लाइफ जी सके। इसके विपरीत कुछ युवा ऐसे भी हैं जो अपनी अच्छी-खासी पैकेज वाली नौकरी छोड़कर खेती-बाड़ी की ओर रुख कर रहे हैं और बेहतर आमदनी कमा रहे हैं।

उन्हीं युवाओं में एक नाम सचिन कोठारी (Sachin Kothari) का भी है, जिन्होंने कॉर्पोरेट की अच्छी-खासी नौकरी छोड़कर खेती शुरु की और आज नर्सरी बिजनेस (Nursery Business) से सालाना 30 लाख रुपये की आमदनी कमा रहे हैं।

नौकरी में नहीं मिला सुकून

देहरादून के रहनेवाले सचिन कोठारी (Sachin Kothari) उच्च शिक्षा ग्रहण करके दिल्ली में कॉर्पोरेट कम्पनी में नौकरी करने लगे। हालांकि, उन्होंने साल 2008 से लेकर साल 2011 तक एक के बाद एक अलग-अलग चार नौकरियां की लेकिन उन्हें इस नौकरी से मन को सुकून नहीं मिला। उनके ऊपर नौकरी का तनाव बना रहा रहा जिससे डील करना उनके लिए बहुत मुश्किल हो रही थी और इसका प्रभाव उनके स्वास्थ्य पर भी पड़ रहा था।

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नौकरी छोड़ लिया नर्सरी शुरु करने का फैसला

नौकरी में रहने के बाद भी उनका मन नहीं लग रहा था ऐसे में उन्होंने नौकरी छोड़ घर वापस जाने का फैसला किया। इस फैसले के अनुसार सचिन नौकरी को अलविदा कहकर अपने घर वापस देहरादून चले गए। वहां जाने के बाद उन्होंने नर्सरी खोलने का प्लान बनाया जिसका आइडिया उनके एक रिश्तेदार से आया था। हालांकि, वे जब नौकरी कर रहे रहे उसी दौरान उन्होंने इसके बारें में सभी प्रकार की जानकारियां जुटा ली थी।

पिता से उधार लेकर शुरु किया नर्सरी का बिजनेस

किसी भी काम को शुरु करने के लिए पूंजी की जरुरत पड़ती है। सचिन को भी नर्सरी का बिजनेस शुरु करने के लिए पैसे की जरुरत थी, ऐसे में उन्होने अपने पास जमा की गई डेढ़ लाख की राशि और अपने पिता से डेढ़ लाख रुपये उधार लिया। उसके बाद उन्होंने अपने एक दोस्त के साथ मिलकर खुद की जमीन पर 6 लाख रुपये खर्च करके साल 2012 में नर्सरी की शुरूआत की और उसका नाम “देवभूमि नर्सरी” रखा।

दोस्त ने छोड़ा साथ

शुरुआती दौर में सचिन को कई समस्याओं से गुजरना पड़ा क्योंकि शुरु-शुरू में काफी मेहनत के बाद भी नर्सरी में मौजुद अधिकांश पौधों को कीड़े खा गए और इस तरह पौधें काफी संख्या में पौधें खराब हो गए। लाख कोशिशों के बावजूद भी पौधों को खराब होते देख सचिन के दोस्त ने हार मान ली और इस बिजनेस को छोड़ने का फैसला करके सचिन का साथ छोड़ दिया। इतना ही नहीं सचिन के घरवालों ने भी इस बिजनेस को बन्द करने की सलाह दी लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी अपने फैसले पर अडिग रहे।

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किराए पर जमीन लेकर शुरु किया नर्सरी का बिजनेस

सचिन ने अगले तीन वर्षों तक अपनी नर्सरी को सुधारने में लगे रहे। इसके लिए उन्होंने यूट्यूब, अपने रोश्तेदार जिसने नर्सरी शुरु किया था और अन्य जानकार लोगों से नर्सरी के बारें में जानकारी हासिल की। जानकारी हासिल करने के बाद सचिन ने फिर से नर्सरी शुरु करने का निर्णय किया। हालांकि, इस बार उन्होंने जगह बदली। इस बार उन्होंने नर्सरी शुरु करने के लिए शहर से 15 किलोमीटर दूर किराए पर जमीन लिया और वहीं नर्सरी की शुरूआत की।

कमा रहे हैं सालाना 30 लाख रुपये की आमदनी

पहली बार में असफल रहे सचिन को दूसरी बार सफलता मिल गई। वर्तमान में उनके नर्सरी (Nursery Business) 20 अलग-अलग प्रकार के फूलों समेत टमाटर, बॉक चॉय, बैंगन, ब्रोक्ली, फुलगोभी आदि के पौधें मौजुद हैं। उनके नर्सरी में मौजूद पौधो की मांग दिल्ली, जालंधर, चंडीगढ़, अमृतसर, लुधियाना आदि जगहों पर भी है।सचिन अपनी नर्सरी से सचिन सालाना 30 लाख रुपए की कमाई करते हैं।