एक समय था जब बेटिओं और महिलाओं का संसार घरों तक हीं सीमित हुआ करता था। आज वक्त बदल रहा है और बदलते हुए वक्त में बेटियां और महिलाएं अपनी काबिलियत का बेजोड़ परिचय दे रही हैं और अपनी काबिलियत से सफलता के ऊंचे मुकाम हासिल कर रही हैं।
आज बात उन्हीं में से एक बेटी श्रुति सेठ (Shruti Sethi) की, जो भिलाई (Bhilai) से ताल्लुक रखती हैं। वह हिदायतुल्लाह नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी की छात्रा हैं और उन्हें 8 गोल्ड मेडल प्राप्त है। उनके पिता का नाम जेके सेठी और माँ का नाम सुष्मा सेठी है। यह बहुत ही गर्व की बात है कि जिस तरह श्रुति ने अपनी काबिलियत के दम पर मेडल प्राप्त किए हैं वह अन्य युवाओं के लिए भी प्रेरणास्रोत बन गई हैं।
श्रुति ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा अपने गृह क्षेत्र में रहकर हीं पूरी की है। उनका लक्ष्य कानून के क्षेत्र में नहीं था लेकिन उन्हें परिवार का समर्थन मिला। उन्हें लॉ के फील्ड में जाने का मार्गदर्शन उनके परिवार से हीं मिला। जब उन्होंने इसकी तैयारी शुरू की तो उन्हें बुक्स में रुचि बढ़ने लगी और वह उसमें ज्यादा वक्त देने लगीं। उन्होनें शुरुआत की जानकारी और धाराओं को समझने के लिए कोर्ट जाने का निश्चय किया ताकि वह सभी चीज़ अच्छी तरह समझ सकें।
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उन्होंने यह निश्चय किया कि अब मैं वकालत को हीं लक्ष्य बनाऊंगी। श्रुति एचएनएलयू की छात्रा रह चुकीं हैं और वर्तमान में मुंबई में अपना कार्यभार संभाल रही हैं। वह पढ़ाई में शुरू से हीं अव्वल रहीं हैं और लॉ की पढ़ाई में भी उन्होंने अपने इस ओजस्विता को बरकरार रखा। उनकी काबिलियत का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि उन्होंने स्पेन और हॉन्गकॉन्ग जैसे देशों में एनएचएलयू का प्रतिनिधित्व भी किया है।
अपनी काबिलियत के दम पर श्रुति ने जो पद हासिल किया वह प्रसंशनीय है। The Logically श्रुति को खूब बधाईयां देता है और अन्य युवाओं से अपील करता है कि वह भी उनकी तरह कठिन मेहनत करें और शोहरत हासिल करें।