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दुल्हें ने लौटाया दहेज में मिली 11 लाख की नगद राशि और गहने, शगुन में 1 रूपए लेकर पेश की मिसाल

Uttar Pradesh's groom Saurabh Chauhan returned Rs 11 lakh and jewellery received in dowry

हमारे भारतीय समाज में प्राचीन काल से दहेज (Dowry) लेने-देने की परम्परा चली आ रही है। हालांकि, यह परम्परा नहीं बल्कि समाज में बड़े स्तर पर फैली एक ऐसी कुरीति है जिसकी आग में न जाने कितनी मासूम और बेगुनाह बेटियां झुलस कर इस दुनिया से हमेशा के लिए चली गईं फिर भी लोगों ने दहेज लेना-देना बन्द नहीं किया।

ऐसे में इस कुप्रथा की रोकथाम के लिए हमारे देश में सख्त कानून बनाए गए हैं। साथ ही दहेज के लेन-देन को रोकने के लिए समाज में जागरुकता भी फैलाई जाती है जिससे अब स्थितियां कुछ सुधरती दिखाई दे रही हैं। अब कुछ लोगों की लालची सोच में सुधार हो रहा है और वे इस कुप्रथा के खिलाफ जा रहे हैं। इसी क्रम में UP में हुई एक शादी दहेज लोभियों के लिए मिसाल बनी है।

दहेज की राशि लौटाकर पेश की मिसाल

हाल ही में उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) राज्य से एक ऐसा मामला सामने निकलकर सामने आया है जो समाज में बैठे दहेज के लालची लोगों के लिए मिसाल है। दरअसल, उत्तरप्रदेश के मुज्जफरनगर (Muzaffarnagar) जिले में शादी के दौरान लड़की पक्ष की तरफ से दुल्हें को 11 लाख रुपये की नगद राशि और गहने दिए जा रहे थे। लेकिन दुल्हें ने दहेज के तौर पर मिलनेवाली रकम और गहने को लेने से इन्कार कर वापस लौटा दिया।

शगुन के तौर पर लिया महज 1 रुपये

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दुल्हे का नाम सौरभ चौहान (Saurabh Chauhan) बताया जा रहा है और वह लेखपाल है। उनकी शादी लखन गांव के सेवानिवृत्त सिपाही की बेटी प्रिन्सि से तय हुई थी। शादी की तय तारीख के अनुसार, सौरभ बारात साथ शुक्रवार के दिन लखन गांव स्थित लड़की के घर पहुंची। वहां जब वधू पक्ष ने सौरभ को दहेज की राशि तो उन्होंने उसे स्वीकार न करके लौटा दिया और शगुन के तौर पर महज एक रुपये लेकर शादी की।

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समाज को लेनी चाहिए सीख

दूल्हा सौरभ (Saurabh Chauhan) द्वारा उठाए गए कदम से दुल्हन का पूरा परिवार काफी खुश है और दुल्हें की ऐसी सोच की तारीफ कर रहा है। बता दें कि दुल्हन प्रिंसी मेडिकल की पढ़ाई की है और उनके पिता सुनील सेना से रिटायर्ड होने के बाद बैंक में कार्यरत हैं। वहीं प्रिंसी के ताऊ का नाम डॉ रविन्द्र सिंह है जिन्होंने दुल्हें की तारीफ करते हुए कहा है कि ऐसा करके दुल्हे ने समाज को नई दिशा दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि शादियों में फिजूलखर्ची करनेवालों को भी सौरभ से सीख लेनी चाहिए।

लोग कर रहें हैं सौरभ की तारीफ

सौरभ द्वारा दहेज न लेकर शादी करने के लिए गाँव के निवासी अमरपाल ने भी दुल्हें की काफी प्रशंशा की है। उन्होंने कहा कि सौरभ ऐसा कदम उठाकर दूसरों के लिए मिसाल पेश की है। इसके अलावा किसान मजदूर संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष ठाकुर पुरन सिंह ने कहा कि यह एक सरहनीय कदम है और शादी-विवाह के अवसर पर होनेवाली फिजूलखर्ची को रोकथाम करनी जरुरी है।

एक तरफ जहां हमारे समाज में दहेज (Dowry) कुप्रथा का काफी बोला-बाला है और इसने अपनी चपेट में न जाने कई मासूम लड़कियों को ले लिया है वहीं सौरभ (Saurabh Chauhan) का यह कदम लोगों के लिए एक मिसाल बन गया है। The Logically सौरभ के इस कदम की प्रशंशा करता है।

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