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छोटे-छोटे बैग्स में घर पर कैसे उगाएं आलू, तरीका बहुत आसान

Grow Potatoes In Small Bags At Home

हमारे यहां सब्जियों में आलू की एक अलग ही भूमिका है। यह घर-घर की पहचान है। आलू का सेवन रक्तचाप नियंत्रित रखता है और ये हड्डियों को भी स्वस्थ्य रखता है। जैसा कि हम सभी जानते हैं कि बाजार में बिकने वाली सब्जियां शुद्ध नहीं होता उसी तरह आप मार्केट से खरीदे हुए आलू का सेवन करते हैं तो निश्चित है कि ये आपके लिए स्वास्थ्यवर्धक नहीं होगा।

हम सभी इस बात से भली-भांति परिचित हैं कि फसलों के अधिक उत्पादन हेतु केमिकल युक्त फर्टिलाइजर का उपयोग किया जाता है इसलिए ये उचित होगा कि हम अपने होम गार्डन में इसे स्वयं लगाएं। आप पहले इसे तैयार कर लें और फिर इससे आपको जो भी डिश तैयार करना है आप कर सकते हैं।

आज की हमारी इस कहानी में आप ये पढ़ेंगे कि किस तरह अपने होम गार्डन में आलू के बीज से आलू तैयार किया जाता है, किस तरह इसकी हार्वेस्टिंग की जाती है.? साथ ही आप ये देखेंगे कि किस तरह इसकी हार्वेस्टिंग के बाद इससे फ्रेन्स फ्राइस बनाया जाता है। इसमें जो वीडियो साझा किया जा रहा है इससे आप आलू की बुआई से लेकर इसकी हार्वेस्टिंग तक की वीडियो भी देखेंगे जिससे आपको इसे तैयार करने में सहायता मिलेगी।

  • प्लास्टिक की थैली में लगाए आलू

सबसे पहले आप एक प्लास्टिक की थैली में बालू वाली मिट्टी लें और इसमें आलू को रख दें। आप फिर से इसे ढ़कने के लिए उसी मिट्टी का उपयोग करें और पानी की फुहारों से इसकी थोड़ी सिंचाई कर लें। फिर इसे प्लास्टिक की थैली से कवर कर दें और 2 दिनों तक ऐसे ही छोड़ दें। 2 दिनों के उपरांत आप इसे हल्के हांथो से मिट्टी को हटाते हुए आलू को बाहर निकाल लें। अब इसमें आपको कहीं-कहीं छोटे-छोटे अंकुरण दिखाई दे रहा होगा। बहुत से लोग इसे काटकर भी लगाते हैं बस इसमें ये ध्यान रखना होता है कि बीज के अंकुरण वाला हिस्सा नहीं कटना चाहिए वरना पौधा उगता नहीं बल्कि वह सड़ जाता है।

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वीडियो यहाँ देखें:-👇👇

अब आपको जितने आलू बोने हैं उतने प्लास्टिक के बोरे लें और उसमें आप मिट्टी भर लें। आप कोई नॉर्मल मिट्टी या फिर कोकोपीट, उर्वरक तथा वर्मीकम्पोस्ट से निर्मित मिट्टी का उपयोग कर सकते हैं। आप चाहे तो अन्य कंटेनर जैसे, गमला, ग्रो बैग या प्लास्टिक का टब भी यूज कर सकते हैं। बस आपको अपने सहूलियत के अनुसार ही इसकी बुआई करनी है। अब आगे आप इसमें अंकुरित किए हुए आलू को डालें और फिर इसपर हल्की मिट्टी डलाते हुए ढकें। आगे इसकी हल्के फव्वारेदार पानी से सिंचाई करें और फिर ऊपर पुआल से इसे कवर करते हुए रख दें। इस पुआल पर भी आप हल्का सा पानी छिड़क दें और इसे ऐसे ही छोड़ दें।

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  • देखें परिवर्तन

5 दिनों के अंतराल के बाद आप यह देखेंगे कि आपका आलू कैसे एक पौधे का रूप ले चुका है। आगे आप इसका थोड़ा निरीक्षण करते रहें। 20 दिनों के बाद ये देखेंगे कि आपका पौधा कैसे काफी बड़ा हो चुका है। आगे आपको उर्वरक का छिड़काव करना है। आप इसमें जैविक खाद का उपयोग करें ताकि ये शुद्ध हो। आप किसी भी प्रकार से बने हुए जैविक उर्वरक का ही उपयोग करें क्योंकि ये पौधों के लिए सही माना जाता है। 40 दिनों के बाद आपको अच्छा रिजल्ट मिलेगा जिससे आपका मनोबल बढ़ेगा। 60 दिनों के बाद आपको इसकी जड़ों में उर्वरक के तौर पर अंडे का छिलका रखना है। अंडे के छिलकों में कैल्शियम होता है जिससे पौधों को शक्ति मिलेगी और वह मजबूत होगा।

  • 90 दिनों के बाद पौधा हार्वेस्टिंग के लिए तैयार

अब आपकी इसकी सिंचाई करनी है ताकि ये अच्छा ग्रोथ करे। 80 दिनों के हो जाने के बाद आप इन पौधों के स्पोर्ट के लिए लकड़ी को खड़ा करते हुए चारो तरफ से घेर दें। अब कुछ दिनों के लिए इसे ऐसे ही छोड़ दें। ध्यान रहे आपके पौधों को हल्की धूप भी लगनी चाहिए ताकि ये प्रकाश संश्लेषण की क्रिया सम्पन्न कर सके। 90 दिनों के उपरांत आपका पौधा काफी बड़ा हो चुका होगा और अब इससे आलू को उखाड़कर बाहर निकाल सकते हैं।

  • ऐसे बनाए मन पसन्द डिश

अब आप इसे निकाल लें और पानी से अच्छी तरह साफ कर लें। फिर इसे काटकर पुनः धोएं और हल्की आंच पर नमक डालकर उबाल लें। अब इसे छानकर हल्का तेल डालकर आप 10 मिनट के लिए इसे माइक्रोवेव में छोड़ दें। इस तरह आप बहुत स्वादिष्ट फ्रेंच फ्राइस तैयार कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त आप इससे कई प्रकार के अपने मन पसन्द डिश बना सकते हैं। इससे आपको खुशी भी होगी। आपने इसे स्वयं होम गार्डन में उगाया और स्वयं ही खाने का डिश भी बनाया।

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