दरियादिली की बहुत सी कहानियों को हम सबने पढा होगा। लेकिन ये दरियादिली की कहानी सबसे अलग और हटकर है। ये कहानी है उड़ीसा (Odisa) की एक बुजुर्ग महिला की जिन्होंने दरियादिली की एक नई उदाहरण सबके सामने पेश किया है। उन्होंने अपनी सारी जायदाद एक रिक्शेवाले के नाम कर दी है। आईए जानते हैं दरियादिली की मिसाल बनने वाली उस बुजुर्ग महिला की रोचक कहानी।
उड़ीसा (Odisa) के कटक से ताल्लुक रखने वाली 63 वर्षीय महिला ने वो दरियादिली दिखाई है जो शायद हीं कोई कभी दिखाया हो। ये महिला इस जगत में अकेले अपना जीवन गुजार रही हैं।
किया सम्पति रिक्शेवाले के नाम
कहने को तो उनके 1 भाई 3 बहन और बच्चे भी हैं लेकिन उन्होंने अपनी सम्पूर्ण सम्पति एक रिक्शावाले के नाम कर दी है। रिश्तेदारों की इतनी लम्बी श्रेणी होने के बावजूद भी उन्होंने आखिर अपनी सम्पति एक रिक्शेवाले को क्यों दी??
खत्म हुआ सारा परिवार, टूटा दुःख का पहाड़
वह महिला मिनाती पटनायक है, जिन्होंने बहुत से विषम परिस्थितियों का सामना करते हुए अपने जिंदगी में अनन्त दुःख झेला है। दरअसल 1 साल में हीं उनका परिवार खत्म हो गया और उनके ऊपर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा। इनके पति को कैंसर ने जकड़ लिया था जिस कारण उनका निधन पिछले वर्ष हो गया। इनकी एक एकलौती बेटी थी जो कोरोनावायरस से संक्रमित हुई और फिर आगे उसका हार्ड अटैक से निधन हो गया। वह बहुत दुःखी रहने लगी थी इस दौरान एक रिक्शा चालक और उनके परिवार ने मिनाती को सम्भाला। उस रिक्शा चालक का नाम बुधा है जो अपने जीवनयापन के रिक्शा चलाता है।
बन चुका है घर का सदस्य
दरअसल बुधा मिनाती के मकान में वर्ष 1994 से हीं किराए पर रहता है और वह उन्हें मां कहकर बुलाया करता है। वह इनकी बेटी को रिक्शे से स्कूल और कॉलेज लेकर जाया करता था। मिनाती के पति का नाम कृष्णा था, जो बिजनेस कर अपने परिवार को संभाले हुए थे। मिनाती ने बताया कि इतने वर्षों से हमारे साथ रहने के कारण बुधा हमारे परिवार का सदस्य बन चुका है। जब बुधा के बेटी की शादी हुई तो मिनाती ने उसकी सहायता की थी। वह कहती हैं कि मेरे प्रॉपर्टी का असली हकदार बुधा ही है।
मुश्किल घड़ी में दिया साथ
मिनाती कहती हैं कि हमारे सभी रिलेटिव के पास बहुत धन-दौलत है और मेरी ख़्वाहिश थी कि मैं अपनी सम्पत्ति किसी गरीब को दूं। उन्होंने बताया कि जब मेरे ऊपर दुखों का पहाड़ टूटा मेरी बेटी की मृत्यु हुई तो किसी भी रिश्तेदार ने मेरी मदद नहीं कि ना ही मेरा फोन उठाया। वहीं बुधा और उसकी परिवार ने मेरा हर वक़्त साथ दिया। जिस कारण उन्होंने अपनी 5 मंजिला घर करीब 300 ग्राम सोने के आभूषण बुधा के नाम कर दिए हैं। अब बुधा लगभग 1 करोड़ के प्रोपर्टी का मालिक बन चुका है।