एक औरत के अनेकों रूप होते हैं। निःसंदेह वे हर रोज विभिन्न तरह की जिम्मेदारियां निभाने के साथ ही अनेकों रिश्ते संभालती है। औरत ही सृष्टि की सृजनकर्ता है। एक औरत के लिए मां बनना बेहद ही सुखद अनुभव होता है। आज कल सोशल मीडिया पर एक तस्वीर खूब वायरल हो रही है जिसमें एक एसडीएम को अपनी कुर्सी के साथ-साथ दफ्तर में ही मां का फर्ज निभाते हुए देखा जा रहा है।
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एसडीएम(SDM) और मां दोनों साथ-साथ एक ही औरत में नजर आ रही है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार एसडीएम महिला का नाम सौम्या पांडेय(Saumya Pandey) है जो वर्तमान में गाजियाबाद(Gaziyabad) के मोदीनगर(Modinagar) तहसील की एसडीएम पद पर तैनात हैं। सौम्या अपने दूध मुंहे बच्चे के साथ दफ्तर में कुर्सी पर बैठी नजर आ रही हैं।
सौम्या पांडेय(Saumya Pandey) करीब 22 दिन पहले मां बनी है। ऐसी अवस्था में एक औरत को आराम की सख़्त जरूरत होती है, लेकिन सौम्या ने घर पर रहके ख़ुद और अपने बच्चे का ख्याल रखने के बजाय दफ्तर पहुंचकर बच्चे और पद दोनों को ही संभाल रही हैं। एक औरत के लिए अपने बच्चे को अकेले छोड़ना बहुत ही मुश्किल होता है इसीलिए सौम्या अपने बच्चे को लिए दफ्तर जाने लगी। एक मां और ऑफिसर दोनों की जिम्मेदारी एक साथ सौम्या बखूबी निभा रही हैं। सौम्या पांडेय के काम के प्रति समर्पण को लोग सोशल मीडिया पर लोग खूब तारीफ कर रहे हैं।
देखे कैसे सौम्या पांडेय अपने बच्चे को लिए दफ्तर का कार्य संभाल रही है।
Must be inspired by @GummallaSrijana ! @IASassociation Soumya Pandey (SDM Modinagar) didnt availed 06 months maternity leave, joined back office with her infant daughter. #CoronaWarriors pic.twitter.com/8Q6Cju2X49
— Dr.Prashanth (@prashantchiguru) October 12, 2020
Must be inspired by @GummallaSrijana ! @IASassociation Soumya Pandey (SDM Modinagar) didnt availed 06 months maternity leave, joined back office with her infant daughter. #CoronaWarriors pic.twitter.com/8Q6Cju2X49
— Dr.Prashanth (@prashantchiguru) October 12, 2020
सौम्या पांडेय उत्तर प्रदेश के प्रयागराज की रहने वाली हैं। वह 2017 बैच की आईएएस(IAS) ऑफिसर हैं। कोरोना काल में भी सौम्या अपनी दोहरी जिम्मेदारी निभाने से पीछे नहीं हटीं, जिस समय उन्हें घर पर रहकर अपने बच्चे का ख्याल रखना चाहिए, उस समय भी वह अपने बच्चे के साथ दफ्तर पहुंचकर प्रेरणा की मिसाल कायम की हैं। इससे पहले भी वह गर्भावस्था के दौरान हीं कोरोना काल में कई अस्पतालों की मॉनिटरिंग भी कर चुकी हैं और इस बार डिलीवरी के 22 दिन बाद हीं अपने ड्यूटी पर पहुंच कर मिसाल बन गई हैं।
जिस तरह सौम्या पांडेय अपने बच्चे और कार्य के प्रति सजग हैं, अन्य लोगों को उनसे प्रेरणा लेने की जरूरत है। The Logically सौम्या पांडेय के जज्बे को सैल्यूट करता है।