चंदन की लकड़ी को बहुत पवित्र माना जाता है। इसकी कीमत करोड़ों में होती है। इसका उपयोग पूजा पाठ, मूर्तिकला, अगरबत्ती अथवा हवन सामग्री आदि बनाने के लिए किया जाता है।
अगर कोई व्यक्ति चंदन की खेती करे तो वह कुछ ही सालों में करोड़पति बन सकता है।
ऐसे में एक किसान रूपराम ने चन्दन के करीब 250 पेड़ लगाएं है, जिससे उनकी आमदनी लगभग 3 करोड़ रुपए तक होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
रूपराम (Rupram) अलवर से लगभग 16 किमी दूर स्थित हाजीपुर डडीकर गांव के रहने वाले हैं। वे बहुत ही गरीब किसान हैं मगर कहते हैं ना कि हर चीज़ का अंत कभी न कभी होता ही है। ठीक उसी प्रकार रूपराम की भी गरीबी मानों खत्म ही होने वाली है।
रूपराम ने अपनी आधा बीघा खेत में 250 चन्दन के पेड़ लगाएं हैं, जो करीब 30 फिट ऊंचे हो चूके हैं। उन्होंने ये पेड़ लगभग 5 साल पहले लगाए थे।
चन्दन के एक पेड़ की कीमत लगभग 1 लाख रुपए से अधिक होती है। इस हिसाब से अगर पूरी आमदनी देखी जाए तो लगभग 3 करोड़ से अधिक होगी।
दूसरे फसल के मुकाबले चन्दन से किसानों को 100 गुना ज्यादा मुनाफा हो सकता है। – rupram from hajipur is doind sandalwood farming
एक पौधें की कीमत 500 सौ रुपए
रूपराम के बेटे ने बताया कि उनके पिता ने लगभग 5 वर्ष पहले चन्दन के पेड़ लगाएं थे। तब उन्हें किसी ने बताया था कि चन्दन के पेड़ से बहुत अच्छी खासी कमाई की जा सकती है।
हालांकि चन्दन के पेड़ लगाने के लिए सही जगह का होना जरूरी होता है। रूपराम के भाग्य ने साथ दिया और हाजीपुर डडीकर की मिट्टी पर उनके लगाए हुए सारे पौधें लग चुके हैं। आने वाले 6 से 7 सालों में ये सभी पेड़ काफी बड़े और मोटे हो जायेंगे।- rupram from hajipur is doind sandalwood farming
चंदन की लकड़ी 6 हज़ार रुपए किलो बिकती है
रूपराम की बेटे को चंदन के पेड़ के बारे में पूरी जानकारी दी है। वे जानते हैं कि चंदन की पेड़ की कीमत हजारों में होती है। इसकी लकड़ी 5 से 6 हज़ार रुपए किलो बिकती है और इसकी जड़ से निकलने वाले तेल की कीमत भी 70 से 80 हज़ार रुपए प्रति लीटर बिकता है।
अगर इसके एक पेड़ से होने वाले आमदनी को देखा जाए तो लगभग 1 से डेढ़ लाख रुपए तक हो सकती है। – rupram from hajipur is doind sandalwood farming
दो सालों में आने लगेगी खुशबू
रूपराम के परिवार वालों ने बताया कि 5 साल पहले ही ये पेड़ लगाया गया है और आने वाले 2 वर्षों में इसमें से खुशबू भी आने लगेगी। चंदन की खुशबू ही इसे और कीमती बनाती है।
चंदन का इस्तेमाल कई प्रकार के खुशबूदार चीजें बनाने के लिए होता है। जैसे- इत्र अगरबत्ती आदि। ऐसा कहा जाता है कि इसकी खुशबू जितनी देर तक रहती है, इसकी कीमत भी उतनी ही अधिक होती है।- rupram from hajipur is doind sandalwood farming
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दक्षिण भारत और आस्ट्रेलिया में चन्दन
चन्दन के पेड़ सबसे ज्यादा आस्ट्रेलिया और दक्षिण भारत में होते है। चन्दन की लकड़ी का उत्पाद इतना है फिर भी इसकी हमेशा कमी ही रहती है। यही कारण है चन्दन इतना महंगा है। हालांकि चन्दन की गुणवता तमिलनाडू और केरल में भी अच्छी होती है।- rupram from hajipur is doind sandalwood farming
क्या करना होता है, पेड़ लगाने के लिए?
किसानों का कहना है कि उन्होंने सफेद चंदन की लकड़ी (White Sandal Wood) लगाए हैं, जिसकी कीमत मार्केट में उपल्ब्ध बाकी चंदन के पेड़ों से ज्यादा होती है।
उन्होंने बताया कि अभी तक इन पेड़ों की गुणवत्ता और ग्रोथ दोनों ही अच्छे हैं। चंदन की पेड़ को पोषण देने के लिए उसकी जड़ों में दुसरे पौधों को लगाना पड़ता है।
उन्होंने बताया कि उन्होंने इसमें मेहंदी के पौधें लगाए हैं। इन दूसरे पेड़ो की जरूरत तब तक ही होती है, जब तक कि पौधे बड़े ना हो जाएं।
शुरुआत के दिनों में चंदन के पेड़ों की देखभाल करना जरूरी होता है, परंतु बड़े हो जाने के बाद इसे ज्यादा देखरेख करने की जरूरत नहीं पड़ती हैं बल्कि यह अपने आप ही बड़े हो जाते हैं। rupram from hajipur is doind sandalwood farming
गांव के बाकी लोग भी लगाएंगे पौधें
चंदन के पेड़ों के ग्रोथ देखते हुए डडीकर गांव के बाकी लोग भी इसे लगाने की तैयारी कर रहे हैं। ऐसे कई फॉर्म हाउस है जहां पौधें लगाने का प्लान बनाया जा रहा है।
फार्म हाउस के मालिक मनोज चाचान ने कहा कि वह लगभग 200 से 500 पेड़ लगाने की तैयारियों में जुटे हुए है। rupram from hajipur is doind sandalwood farming
उन्होंने बताया कि यहां की मिट्टी भी चंदन के पेड़ों को लगाने के लिए सही है। उन्होंने यह भी कहा कि इस विषय पर कृषि विशेषज्ञों को भी ध्यान केन्द्रित करना चाहिए क्योंकि इससे किसानों को आर्थिक मदद भी मिलेंगी। – rupram from hajipur is doind sandalwood farming
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