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जमशेदपुर के दो भाइयों ने खड़ी की 500 करोड़ की साफ्टवेयर कंपनी, फोर्ब्स की रैंकिंग में भी बनाई जगह

अगर हम पूरे मन से किसी चीज को पाने की कोशिश करें, तो कुछ भी प्राप्त कर सकते हैं।
इस कथन को सत्य सिद्ध कर दिखाया है, झारखंड (Jharkhand) के पूर्वी सिंहभूम जिले के रहने वाले दो भाइयों 30 वर्षीय अंकित प्रसाद (Ankit Prasad) और 32 वर्षीय राहुल प्रसाद (Rahul Prasad) ने। उन्होंने अपनी मेहनत से 500 करोड़ रुपये की साफ्टवेयर कंपनी खड़ी की है। उनकी कंपनी अब गूगल (Google) और माइक्रोसाफ्ट (Microsoft) जैसी ग्लोबल कंपनियों को टक्कर देने के लिए तैयार है।

बॉबल इंडिक दुनिया की करीब 120 भाषाओं को सपोर्ट करता है

दोनों भाइयों ने साथ मिलकर साल 2005 में वेब डिजाइनिंग (Web Designing) का काम शुरू किया था। उसी मार्ग पर आगे बढ़ते हुए उन्होंने साल 2012 में टच टैलेंट (Touch Talent) नामक साफ्टवेयर कंपनी की शुरूआत की, परंतु यह कंपनी अंकित और राहुल के उम्मीद के हिसाब से चल नहीं पाई। उसके बाद साल 2016 में उन्होंने फिर साथ मिलकर बॉबल एआइ (Babel AI) नामक कंपनी की नींव रखी। जिसके तहत अंकित और राहुल ने ‘बॉबल इंडिक’ की-बोर्ड लांच किया। यह की-बोर्ड 37 भारतीय भाषाओं के साथ दुनिया की करीब 120 भाषाओं को भी सपोर्ट करता है। बॉबल इंडिक की रेटिंग अब 4.7 है। पूरी दुनिया में इसका इस्तेमाल पांच करोड़ से ज़्यादा लोग कर रहे हैं।

Two brothers from Jamshedpur starts business

कई कंपनियों ने किया बॉबल एआइ में निवेस

स्मार्टफोन के लिए की-बोर्ड बनाने वाली बॉबल एआइ (Babel AI) की अच्छे प्रदर्शन को देखते हुए फ्लिपकार्ट (Flipkart) के सहसंस्थापक सचिन बंसल (Sachin Bansal)और बिन्नी बंसल (Binny Bansal), मेक माय ट्रिप के संस्थापक दीप कालरा (Deep Kalra) सहित सैफ पार्टनर्स और शाओमी जैसे निवेशकों ने बॉबल एआइ में करोड़ों का निवास किया है। अंकित और राहुल के पिता रंजीत प्रसाद (Ranjit Prasad) एनआइटी-जमशेदपुर में भूगर्भ शास्त्र के प्रोफेसर हैं। दो भाईयों की शुरूआती पढ़ाई चाईबासा के सरस्वती विद्या मंदिर से हुई है।उसके बाद उन्होंने आदित्यपुर (जमशेदपुर) स्थित डीएवी एनआइटी से 12वीं की।

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शुरू से दोनों भाइयों को साफ्टवेयर इंजीनियरिंग में थी रुचि

अंकित प्रसाद (Ankit Prasad) और राहुल प्रसाद (Rahul Prasad) दोनों को बचपन से ही कंप्यूटर में रुचि थी। जिसे कारण उन्होंने आगे की पढ़ाई के लिए साफ्टवेयर इंजीनियरिंग करने का फैसला लिया। 12वीं में सफलता प्राप्त करने के बाद अंकित ने साल 2008 में आइआइटी, दिल्ली (Delhi) में मैथमेटिक्स एंड कंप्यूटिंग की पढ़ाई शुरू की, परंतु साल 2011 के अंत में उन्होंने पढ़ाई छोड़ दी। दूसरी तरफ राहुल सिक्किम मणिपाल यूनिवर्सटिी से कंप्यूटर साइंस की डिग्री प्राप्त करने के बाद साल 2008 से 2014 के बीच कई मल्टीनेशनल कंपनियों में नौकरी कर चुके थे।

बॉबल एआइ नामक कंपनी की हुई शुरुआत

अंकित पढाई छोड़ने के बाद साल 2016 में ‘बॉबल एआइ’ (Babel AI) कंपनी की शुरुआत की। अंकित का साथ देते हुए राहुल भी पूरी तरह उस कंपनी से जुड़ गए। बॉबल एआइ का मुख्यालय नोएडा में है। उद्यमिता में उल्लेखनीय योगदान के लिए अंकित प्रसाद (Ankit Prasad) को दुनिया की मशहूर बिजनेस पत्रिका फोर्ब्स ने 30 अंडर 30 एशिया की सूची में शामिल किया था। बिजनेस वल्र्ड मैगजीन की 40 अंडर 40 लिस्ट में भी वह अपनी जगह बना चुके हैं। दो भाईयों की यह कंपनी ना केवल भारत में बल्कि श्रीलंका, इंडोनेशिया सहित कई एशियाई देशों में फैल चुकी है।

अंकित मार्क जुकरबर्ग और स्टीव जाब्स से हुए प्रेरित

अब ‘बॉबल एआइ’’(Babel AI) के साथ अलग-अलग क्षेत्रों की बहुत सी बड़ी कंपनियां भी जुड़ चुकी हैं। इनमें कैडबरी, हैपीडेंट, टिंडर, रिबाक, एडिडास, ओरियो और किंगफिशर जैसे कुछ प्रमुख ब्रांड भी है। बॉबल एआइ के संस्थापक अंकित बताते हैं कि मार्क जुकरबर्ग ( Zuckerberg) और स्टीव जाब्स ( Steve Jobs) उनके आदर्श हैं। उन्होंने भी ऐसे ही बीच में पढ़ाई छोड़ दी और आज सफलता की शिखर पर हैं। डेढ़-दो साल की मेहनत के बाद उन्होंने साल 2012 में ‘टच टैलेंट’ बनाई। अंकित बताते हैं कि जब मैंने पढ़ाई छोड़ी तब करीब 100 देश के 10 लाख से ज़्यादा आर्टिस्ट ‘टच टैलेंट’ से जुड़ चुके थे।

बिहार के ग्रामीण परिवेश से निकलकर शहर की भागदौड़ के साथ तालमेल बनाने के साथ ही प्रियंका सकारात्मक पत्रकारिता में अपनी हाथ आजमा रही हैं। ह्यूमन स्टोरीज़, पर्यावरण, शिक्षा जैसे अनेकों मुद्दों पर लेख के माध्यम से प्रियंका अपने विचार प्रकट करती हैं !

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